World Ozone Day

1609,2023

International Day of Conservation of Ozone layer ,हर वर्ष 16 सितंबर को विश्व ओजोन दिवस मनाया जाता है 16 सितंबर को पूरी दुनिया में यह विश्व ओजोन दिवस मनाया जाता है। जीवन के लिए ऑक्सीजन से ज्यादा जरूरी ओजोन है। ओजोन परत के बारे में लोगों को जागरूक करने के साथ ही इसे बचाने के समाधान की ओर ध्यान एकत्रित करने के उद्देश्य से  यह दिवस मनाया जाता है।

ओजोन क्या है?:::- यह ऑक्सीजन के 3 परमाणु से मिलकर बना हुआ एक प्रकार की गैस है जो वायुमंडल में बहुत कम मात्रा में पाई जाती है  यह तीखे गंद वाली विषैली गैस है।  ओजोन परत के बारे में लोग आम तौर पर भले ही ज्यादा न जानते हों लेकिन यह पृथ्वी और पर्यावरण के लिए एक सुरक्षा कवच का कार्य करती है तथा इसे सूर्य की खतरनाक पराबैंगनी (अल्ट्रा वायलेट) किरणों से बचाती है. फ्रांस के भौतिकविदों फैबरी चार्ल्स और हेनरी बुसोन ने 1913 में इस परत की खोज की

विश्व ओजोन दिवस 2023 की थीम “Montreal Protocol: Fixing the Ozone Layer and Reducing Climate Change” है। 

 1970 और 1980 के दशक के दौरान, वैज्ञानिकों ने अंटार्कटिका के ऊपर ओजोन परत में एक महत्वपूर्ण छेद का खुलासा किया। इस खोज ने मानव स्वास्थ्य और पर्यावरण के लिए संभावित परिणामों के बारे में तत्काल चिंताओं को उठाया।

16 सितंबर 1987 को, मॉन्ट्रियल, कनाडा में मॉन्ट्रियल प्रोटोकॉल के रूप में जाना जाने वाला एक ऐतिहासिक पर्यावरण संधि स्थापित की गई थी। इस प्रोटोकॉल ने ओजोन परत की कमी का मुकाबला करने के वैश्विक प्रयास में एक महत्वपूर्ण मोड़ को चिह्नित किया। इसने विशेष रूप से ओजोन क्षयकारी पदार्थों (ODS) को लक्षित किया, जिसमें क्लोरोफ्लोरोकार्बन (सीएफसी), हैलोन, कार्बन टेट्राक्लोराइड और मिथाइल क्लोरोफॉर्म शामिल हैं।।

 

19 दिसंबर 1994 को, संयुक्त राष्ट्र महासभा ने 16 सितंबर को ओजोन परत के संरक्षण के लिए अंतर्राष्ट्रीय दिवस घोषित किया।पहली बार 16 सितंबर 1995 को विश्व ओजोन दिवस मनाया गया।।


 इस सदी के अंत तक, पृथ्वी का तापमान 0.5 से 1 डिग्री सेल्सियस तक बढ़ जाएगा। यदि ओजोन परत की कमी को संरक्षित नहीं किया जाता है, तो जलवायु परिवर्तन पृथ्वी पर सभी तरह के जीवन को समाप्त करने की और अग्रसर होगा।

यदि पेड़-पौधे यूवी विकिरण से सुरक्षित नहीं रहेंगे, तो पौधे कार्बन डाइऑक्साइड को अवशोषित करने में सक्षम नहीं होंगे, जिससे जलवायु परिवर्तन में वृद्धि होगी। अध्ययन के अनुसार, मॉन्ट्रियल प्रोटोकॉल के बिना 2040 तक ओजोन लेयर समाप्त हो जाएगी।।।

Published by DeshRaj Agrwal 

01:47 am | Admin


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