International Cheetah Day

0412,2023

अंतर्राष्ट्रीय चीता दिवस

भारत में चीता शब्द की उत्पत्ति : -  मध्य प्रदेश के मंदसौर के चतुर्भुज नाला की नवपाषाण गुफा से प्राप्त एक पतली चित्तीदार बिल्ली सदृश्य जानवर के शिकार की चित्रकारी को भारत में चीते की ऐतिहासिक पृष्ठभूमि का प्रतीक माना जाता है।

  • चीता शब्द की उत्पत्ति संस्कृत भाषा के 'चित्रक' शब्द से मानी जाती है जिसका अर्थ होता है 'चित्तीदार'
  •  भारत में चीते के शिकार का सर्वप्रथम उपलब्ध साक्ष्य 12वीं शताब्दी के संस्कृत साहित्य 'मानसोल्लास' में मिलता है।

भारत में चीते का इतिहास : - उल्लेखनीय है कि भारत में चीते पहले उत्तर में जयपुर एवं लखनऊ से दक्षिण के मैसूर तथा पश्चिम में काठियावाड़ से पूर्व में देवगढ़ तक पाए जाते थे।

  • अनुमानतः वर्ष 1947 में कोरिया रियासत के महाराज रामानुज प्रताप सिंह देव ने अपने शिकार के दौरान भारत के अंतिम तीन अभिलिखित एशियाई चीतों का शिकार किया।
  • भारत सरकार ने वर्ष 1952 में आधिकारिक तौर पर चीता को विलुप्त घोषित कर दिया।

चीता की विलुप्ति के कारण : -

  • अत्यधिक शिकार।
  • चीतों के शिकार आधार वाली प्रजातियों (जैसे चीतल, हिरन आदि) की संख्या में कमी।
  • आवास की क्षति : -  स्वतंत्रता पूर्व और पश्चात् सरकार द्वारा कृषि क्षेत्र के विस्तार पर जोर देने के कारण  तथा मानवीय हस्तक्षेपों के कारण घास के मैदानों और वन क्षेत्र में कमी।
  • अवैध व्यापार और तस्करी।

चीते की वैश्विक स्थिति : -

  • वर्तमान में चीते की दो मान्यता प्राप्त उप-प्रजातियाँ- एशियाई चीता (Acinonyx jubatus venaticus) और अफ्रीकी चीता (Acinonyx jubatus jubatus) मौजूद हैं। अफ्रीकी चीता मुख्यतः सवाना क्षेत्र में पाया जाता है।
  • उल्लेखनीय है कि 1940 के दशक से विश्व के 14 अन्य देशों में भी चीते विलुप्त हो गए हैं- जॉर्डन, इराक, इजरायल, मोरक्को, सीरिया, ओमान, सऊदी अरब, जिबूती, घाना, नाइजीरिया, कजाकिस्तान, पाकिस्तान और अफगानिस्तान।
  • चीता कई प्रकार के आवासों, जैसे अर्द्ध-शुष्क घास का मैदान, तटीय झाड़ियाँ, जंगली सवाना, पर्वतीय क्षेत्र, बर्फीले रेगिस्तान और ऊबड़-खाबड़ अर्द्ध-शुष्क क्षेत्रों में निवास में सक्षम है।

वैश्विक प्रयास : -

  • चीता को 1 जुलाई, 1975 से 'लुप्तप्राय वन्यजीव एवं वनस्पति प्रजाति अंतर्राष्ट्रीय व्यापार अभिसमय' (CITES) के परिशिष्ट-1 के तहत संरक्षित किया गया है और वाणिज्यिक प्रयोग के लिये इसका अंतर्राष्ट्रीय व्यापार प्रतिबंधित है।
  • चीता को अंतर्राष्ट्रीय प्रकृति संरक्षण संघ (IUCN) की लाल सूची में सुभेद्य (Vulnerable) के रूप में अधिसूचित किया गया है।

 

12:37 pm | Admin


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